यनवीर
प्रभावितों को राहत पहुंचाने व पुर्नवास की समुचित व्यवस्था करने की मांग की
हरिद्वार, 6 जनवरी। शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानन्द सरस्वती महाराज ने सरकार से जोशीमठ में हो रहे भूधसांव के संबंध में प्रभावितों को राहत पहुंचाने व पुर्नवास की समुचित व्यवस्था करने की मांग की है। कनखल स्थित शंकराचार्य मठ में पत्रकारों से वार्ता करते हुए शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानन्द सरस्वती महाराज ने कहा कि वे स्वयं भी प्रभावित क्षेत्र का निरीक्षण करने के लिए शनिवार को जोशीमठ जाएंगे। उन्होंने कहा कि जोशीमठ में जमीन धंसने की घटना बड़ी चिंता का विषय है। ऐतिहासिक व पौराणिक सास्कृतिक नगर जोशीमठ खतरे में हैं।
लगातार पिछले एक वर्ष से जमीन धंसने के संकेत मिल रहे थे। लेकिन समय रहते इस पर ध्यान नहीं दिया गया। एक सप्ताह से लगातार जमीन घंसने से पांच सौ से अधिक मकान प्रभावित हुए हैं। मकानों में दरारे आ गयी हैं। इसको देखते हुए उन्होंने अपने सभी कार्यक्रम स्थगित कर प्रभावितों के बीच जाने का फैसला किया है।
स्वामी अविमुक्तेश्वरान्द सरस्वती महाराज ने कहा कि हिमालय में जो कुछ हो रहा है। इस पर लंबे समय से चिंता व्यक्त की जा रही थी। तमाम चेतावनीयों की अनदेखी की गयी। जिसके दुष्परिणाम सामने आ रहे हैं। जिसके चलते एक सांस्कृतिक व पौराणिक नगर खतरे में आ गया है। जमीन धंसने को लेकर अलग-अलग कारण बताए जा रहे हैं। सरकार को सही कारण का पता लगाना चाहिए। उन्होंने कहा कि लोगों को बचाना व उनका पुर्नवास प्राथमिकता होनी चाहिए।