कमल खडका
हरिद्वार, 10 नवबर। सर्वजन स्वराज पार्टी के वरिष्ठ नेता गोकुल सिंह रावत ने कहा कि अलग राज्य बनने के बीस वर्ष बाद भी जिन मुद्दों को लेकर अलग राज्य बनाने के लिए लंबा संघर्ष किया गया था उनका समाधान नहीं हो सका। बेरोजगारी व विकास उत्तराखण्ड गठन के प्रमुख मुद्दे थे। रोजगार व विकास के मामले में उत्तराखण्ड आज भी पिछड़ा है। राज्य बनने के बाद बारी बारी से सत्ता संभाल रही भाजपा व कांग्रेस इन मुद्दों का समाधान करने में विफल साबित हुई हैं।
राज्य में बेरोजगारी आज चरम पर है। रोजगार की तलाश में युवा पलायन करने को मजबूर हैं। प्रदेश के दूरस्थ क्षेत्र आज भी विकास के मामले में पिछड़े हैं। दूरस्थ क्षेत्रों में आज भी शिक्षा, स्वास्थ्य जैसी मूलभूत सुविधाएं लोगों को उपलब्ध नहीं है। ऊर्जा के अपार स्रोत होने के बावजूद उत्तराखण्ड में बिजली की दरें सर्वाधिक हैं। दिल्ली जैसे राज्य उत्तराखण्ड से बिजली खरीदकर अपने नागरिकों को मुफ्त उपलब्ध करा रहे हैं। लेकिन उत्तराखण्ड के लोग भारी भरकम बिलों का भुगतान करने को मजबूर हैं।
सरकार को राज्य लोगों को बिजली, पानी की सुविधा निःशुल्क उपलब्ध करानी चाहिए। कोरोना के चलते किए गए लाॅकडाउन के बाद से व्यापारी बेहद खराब हालात का सामना कर रहे हैं। बार बार मांग करने के बावजूद सरकार व्यापारियों की कोई मदद करने को तैयार नहीं है। सर्वजन पार्टी पलायन रोकने, मातृशक्ति की रक्षा, गरीब वर्ग को अस्पताल, शिक्षा जैसी सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए व्यापक स्तर पर आंदोलन शुरू करेगी। उन्होंने कहा कि 2022 में होने वाले विधानसभा चुनाव में गरीबों को बिजली, पानी मुफ्त उपलब्ध कराने, निःशुल्क शिक्षा के साथ सरकारी स्कूलों का डिजीटाईजेशन करने जैसे मुद्दों पर जनता के बीच जाएगी। भाजपा व कांग्रेस की नीतियों से आजिज आ चुकी प्रदेश की जनता परिवर्तन चाहती है। सर्वजन स्वराज पार्टी जनता की आवाज बनेगी।