विडियो :-भव्य रूप से निकाली गयी महानिर्वाणी अखाड़े की पेशवाई

Haridwar News
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तनवीर

विदेशी श्रद्धालु भी शामिल हुए पेशवाई में
हरिद्वार, 8 मार्च। धर्म व अध्यात्म के रंगों में सराबोर धर्मनगरी हरिद्वार में अखाड़ों की पेशवाईयों का दौर जारी है। सोमवार को महानिर्वाणी अखाड़े की भव्य पेशवाई निकाली गई। जिसमें बड़ी संख्या में नागा संयासी व साधु संत शामिल हुए। पेशवाई में बड़ी संख्या में विदेशी श्रद्धालु भी शामिल हुए। कनखल स्थित दक्ष मंदिर से शुरू हुई पेशवाई नगर भ्रमण करते हुए बंगाली मोड़ स्थत अखाड़े की छावनी में संपन्न हुई।

स्थानीय निवासियों ने पेशवाई के प्रति उत्साह दिखाते हुए पेशवाई में शामिल नागा संयासियों व अखाड़े के साधु संतों का जगह-जगह भव्य स्वागत किया। दक्ष मंदिर से शुरू हुई पेशवाई का शुभारंभ महानिर्वाणी अखाड़े के आचार्य महामण्डलेश्वर विशोकानंद भारती महाराज, महानिर्वाणी अखाड़े के सचिव महंत रविन्द्रपुरी महाराज, महामण्डलेश्वर स्वामी कमलानंद गिरी, अटल अखाड़े के आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी विश्वात्मानंद सरस्वती महाराज व अखाड़े के संतों ने किया।

अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष श्रीमहंत नरेंद्र गिरी महाराज, निरंजनी अखाड़े के सचिव श्रीमहंत रविन्द्रपुरी महाराज ने दक्ष मंदिर पहुंचकर पेशवाई का स्वागत किया। इस दौरान जिला अधिकारी सी.रविशंकर, एसएसपी सेंथिल अबुदई कृष्णराज एस, कुंभ मेला अधिकारी दीपक रावत, अपर मेला अधिकारी हरबीर सिंह, मेला आईजी संजय गुंज्याल आदि सहित कुंभ मेला प्रशासन व मेला पुलिस के अधिकारी भी मौजूद रहे।

भव्य रूप से निकाली गयी पेशवाई में अखाड़े के आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी विशोकानंद महाराज, अखाड़े के सचिव महंत रविन्द्रपुरी महाराज सहित अखाड़े के 40 से अधिक महामण्डलेश्वरों के अलावा बड़ी संख्या में नागा सन्यासी और संत महंत मौजूद रहे। दक्ष मंदिर से शुरू हुई पेशवाई श्रीयंत्र मंदिर, जगजीतपुर बस स्टैंड, बूढ़ी माता तिराहा, संती कुंड, देशरक्षक औषधालय, कनखल थाना, सर्राफा बाजार, चैक बाजार, पहाड़ी बाजार होते हुए बंगाली मोड़ स्थित छावनी में जाकर संपन्न हुई। पूरे पेशवाई मार्ग पर सड़क के दोनों ओर नागा संयासियों के दर्शन व आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु जुटे रहे। पेशवाई में शामिल युद्ध कला का प्रदर्शन का प्रदर्शन कर रहे नागा संयासी सबके आकर्षण का केंद्र रहे। हाथी, घोड़ों व ऊंटो पर सवार संत महापुरूषों के अलावा बड़ी संख्या में विदेशी श्रद्धालु भी पेशवाई में शामिल हुए।

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